आस से भरी ,नम सुनी आँखों में
उम्मीद किरण सांस बन धड़कती देखी है
हाँ मैंने जिंदगी देखी है।
उम्मीद किरण सांस बन धड़कती देखी है
हाँ मैंने जिंदगी देखी है।
जो सब के बीच कहते न थकते थे
जिंदगी है इक मौत रुपी गीत का फलसफा
कंपती उनकी भी लौ देखी है।
जिंदगी है इक मौत रुपी गीत का फलसफा
कंपती उनकी भी लौ देखी है।
छलनी जिगर ख़ाली हाथ रहे उनके
मसौदे लक्कड़ पे धुआं सुंघती रही फुँकनी
हाँ मैंने जिंदगी देखी है।
मसौदे लक्कड़ पे धुआं सुंघती रही फुँकनी
हाँ मैंने जिंदगी देखी है।
रहस्य घाटी में घर बने जिनके भी
पखेरू उड़ा शाख़ बरसों थरथराती देखी है
हाँ मैंने जिंदगी देखी है।
पखेरू उड़ा शाख़ बरसों थरथराती देखी है
हाँ मैंने जिंदगी देखी है।
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